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नारायणपुर
राज्य सहित नारायणपुर जिले में राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस कार्यक्रम का
आयोजन 13 से 20 सितम्बर 2021 तक किया जायेगा। इसके साथ ही छुटे हुए बच्चों
को यह दवा 21 से 23 सितम्बर 2021 के बीच मॉप-अप दिवस पर खिलाई जायेगी।
कार्यक्रम के अंतर्गत 1 से 19 वर्षीय बच्चों किशोर / किशोरियों को कृमि
मुक्ति की दवा (एल्बेंडाज़ॉल) समुदाय स्तर पर मितानिन/ आंगनवाड़ी
कार्यकर्ताओं द्वारा गृह भ्रमण कर खिलायी जायेगी। कार्यक्रम का संचालन
कोविड 19 संबंधित दिशा-निर्देशों का पालन करते हुए किया जायेगा।
एल्बेंडाजील की खुराक 1 से 2 वर्ष की आयु वर्ग के बच्चों को आधी गोली तथा 3
से 19 वर्ष की आयु वर्ग के बच्चों को एक पूरी गोली खिलायी जायेगी। इस
संबंध में कलेक्टर श्री धर्मेश कुमार साहू ने संबंधित विभाग के अधिकारियों
को आवश्यक तैयारी करने के निर्देश दिये हैं।
कार्यक्रम के सफल संचालन हेतु जिले में किये जाने वाली गतिविधियां-
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस कार्यक्रम का आयोजन दिनांक 13 से 20 सितम्बर
2021 तक तथा छुटे हुए बच्चों को यह दवा 21 से 23 सितम्बर 2021 के बीच मॉप
दिवस पर खिलाई जायेगी। इस दौरान 1 से 19 वर्ष तक के सभी बच्चों, किशोर /
किशोरियों को मितानिन द्वारा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के सहयोग से अपने कार्य
क्षेत्र के सभी घरों का भ्रमण कर कृमि मुक्ति की दवा (एल्बेडाजील) खिलायी
जायेगी। मितानिन की अनुपस्थिति में आंगनवाड़ी कार्यकर्ता द्वारा एल्बेडाज़ॉल
दवा खिलायी जावेगी। कार्यक्रम का क्रियान्वयन स्वास्थ्य विभाग एवं महिला
एवं बाल विकास विभाग के समन्वय से किया जायेगा तथा शिक्षा एवं पंचायत विभाग
और स्वच्छ भारत मिशन से सामुदायिक जागरूकता हेतु सहयोग लिया जायेगा।
वर्तमान में कोविड-19 संक्रमण की व्यापकता को देखते हुए सभी स्कूल,
आंगनबाड़ी और अन्य शैक्षणिक संस्थान का संचालन आंशिक रूप से किया जा रहा है।
अतः आगामी राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस कार्यक्रम का क्रियान्वयन स्वास्थ्य
विभाग एवं महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा समुदाय स्तर पर किया जायेगा।
एल्बेंडाजॉल की गोली उम्र अनुसार 1 से 2 वर्ष को आधी गोली चूरा करके पानी
के साथ सेवन कराया जायें। 2 से 3 वर्ष बालक एवं बालिकाओं को एक गोली पूरी
तरह से चुरा करके पानी के साथ सेवन कराया जायें एवं 4 से 19 वर्ष बालक एवं
बालिकाओं को एक गोली चबा करके पानी के साथ सेवन कराया जायें। एल्बेडाज़ॉल
सेवन कराने से पहले दवा की एक्सपायरी तिथि की जांच एवं अभिभावक से बच्चे के
स्वास्थ्य की जानकारी अवश्य ले जो बच्चे बीमार हैं या कोई अन्य दवाई
उन्हें कृमि नियंत्रण की दवाई ना खिलायें।
प्रतिकूल घटना प्रबंधन
कृमि नियंत्रण दवा एल्बेंडाज़ॉल बच्चों और बड़ों के लिए सुरक्षित है। बच्चे
के शरीर में कृमि के कारण कुछ मामूली प्रतिकूल प्रभाव, जैसे जी मिचलाना,
उल्टी दस्त, पेट में हल्का दर्द और थकान अनुभव होने की संभावना हो सकती है।
प्रतिकूल प्रभाव के प्रबंधन हेतु सुनिश्चित किया जाये कि प्रत्येक
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं उप स्वास्थ्य केन्द्रों पर राष्ट्रीय कृमि
मुक्ति दिवस कार्यक्रम पर एल्बेंडाजोल गोली, ओ.आर.एस पैकेट, डोमपेरिडॉन
टेबलेट, डाईसाइक्लोमिन टेबलेट / सस्पेन्शन, पैरासिटामोल टेबलेट / सस्पेन्शन
तथा सी.पी.एम. टेबलेट / सेट्रिजिन टेबलेट की व्यवस्था मामूली प्रतिकूल
घटना के प्रबंधन हेतु उपलब्ध रहे। निकटतम पीएचसी / स्वास्थ्य सुविधा केंद्र
/ ए.एन.एम के संपर्क नंबर माता-पिता/अभिभावक को दवा सेवन के दौरान उपलब्ध
कराये । सभी ए.एन.एम अपने स्वास्थ्य केंद्र के अंतर्गत होने वाली प्रतिकूल
घटना की जानकारी अवश्य रखे एवं किसी भी प्रकार के प्रतिकूल घटना के समाधान
हेतु मितानिन / आंगनवाड़ी कार्यकर्ता के संपर्क में रहे। विभिन्न माध्यम
जैसे एसएमएस, व्हाट्सएप एवं अन्य सोशल मीडिया प्लेटफार्म का भी उपयोग
करें। मितानिन/ आंगनवाड़ी कार्यकर्ता सभी परिवार वालों को सामान्य प्रतिकुल
घटना एवं कृमि के कारण होने वाले मामूली दुष्प्रभाव के बारे में बताये।
साथ ही उससे निपटने हेतु कुछ सरल उपाए भी बताएं।
प्रशिक्षण एवं प्रचार प्रसार गतिविधियां
जिला ब्लॉक एवं सेक्टर स्तरीय प्रशिक्षण प्रदान करने हेतु डिजिटल माध्यम
का उपयोग किया जाये और संबंधित विभाग इसकी समुचित तैयारी करें। जिले में
प्रचार प्रसार एवं सोशल मीडिया गतिविधियाँ प्रचार-प्रसार के रूप में लोकल
केबल टीवी, रेडिओ जिंगल, मीडिया ब्रिफिंग किया जावें। एसएमएस एवं सोशल
मीडिया (फेसबुक, टेलीग्राम, व्हाट्सएप) का उपयोग करे। स्वास्थ्य, शिक्षा और
महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारी एवं कार्यकर्ता अपने फेसबुक,
टेलीग्राम और मौजूदा व्हाट्सएप समूहों का उपयोग प्रशिक्षण और जागरूकता
सन्देश हेतु करें। मॉनिटिरिंग एवं रिपोर्टिंग गाईडलाईन अनुसार नियत अवधि
में की जावे।
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